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सोमवार, 15 जून 2020

सीएम नीतीश कुमार वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से पुल और पथ का करेंगे उद्घाटन GS NEWS


मुख्यमंत्री नीतीश कुमार मंगलवार को 400 करोड़ रूपये से अधिक की राशि से निर्मित पुल और पथ की 2 परियोजनाओं का लोकार्पण करेंगे. इसके साथ ही मुख्यमंत्री 122 करोड़ रुपये के व्यय से प्रस्तावित रोहतास जिले के सासाराम उत्तरी बाईपास निर्माण योजना का शिलान्यास भी करेंगे.




20 अप्रैल 2012 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने नारायणी नदी पर सत्तरघाट महासेतु का शिलान्यास किया था। बिहार राज्य पुल निर्माण निगम ने पुल का निर्माण वशिष्टा कंस्ट्रक्शन कंपनी से कराया है। डेडलाइन बीतने के तीन साल बाद यह महासेतु अब पूरी तरह बनकर तैयार हो गया है। 1440 मीटर लंबी यह महासेतु लॉकडाउन के कारण उद्घाटन के पहले ही सील कर दी गई थी। लॉकडाउन टूटने के बाद पुल का उद्घाटन होना तय है ।


 शिलान्यास के कार्यक्रम
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अब वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ही उद्घाटन और शिलान्यास का कार्यक्रम शुरू कर दिया है. मुख्यमंत्री स्वास्थ्य विभाग के बाद अब पथ निर्माण विभाग की योजनाओं का शिलान्यास करने जा रहे हैं. नीतीश कुमार गंडक नदी पर 263.42 करोड़ की लागत से सत्तर घाट पुल और 146.3 करोड़ की लागत से बने लखीसराय बाईपास रोड का उद्घाटन करेंगे.
 
गंडक नदी पर निर्मित सत्तर घाट पुल सारण और तिरहुत प्रमंडल को जोड़ेगी. 1440 मीटर लंबे इस पुल का निर्माण बिहार राज्य पुल निर्माण निगम ने किया है. जो बैकुंठपुर से चकिया को जोड़ेगी. इससे सिवान, छपरा, गोपालगंज होते हुए नेशनल हाईवे 28 के जरिए उत्तर बिहार के कई जिले जुड़ेंगे.

सत्तर घाट पुल से पटना से मशरख होते हुए रक्सौल तक सीधा रास्ता उपलब्ध हो जाएगा. इसका शिलान्यास मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 20 अप्रैल 2012 को किया था. इसी प्रकार पथ निर्माण विभाग ने लखीसराय बाईपास रोड में स्थित दोनों रेलवे लाइन पर समेकित आरओबी का निर्माण किया है. इस परियोजना की कुल लंबाई 6.593 किलोमीटर है. इसके बनने से लखीसराय शहर को जाम की समस्या से निजात मिल जाएगी.


बाईपास निर्माण योजना
रोहतास जिले के सासाराम शहर के उत्तरी बाईपास निर्माण के 122.39 करोड़ रुपये की प्रथम चरण योजना का मुख्यमंत्री शिलान्यास करेंगे. यह पथ दो लेन चौड़ा होगा. इसके अंतर्गत रेल लाइन पर आरओबी के अलावा स्टेट हाईवे 17 और 12 पर वीयूपी (व्हीकल अंडरपास) का निर्माण किया जाएगा. इसके बन जाने से सासाराम शहर के पश्चिम से उत्तर का सीधे संपर्क हो जाएगा. आरा से बनारस जाने के लिए सासाराम शहर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी.

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