कुल पाठक

सोमवार, 27 जुलाई 2020

बिहार :- बाढ़ में फंसी गर्भवती महिला ने NDRF की बोट में दिया बच्ची को जन्म GS NEWS

बिहार में वैश्विक महामारी कोरोना का प्रकोप तो है ही साथ ही बिहार में बाढ़ ने भी तबाही मचा रखा है पूर्वी चम्पारण जिले में बाढ़ राहत एवं बचाव ऑपेरशन में जुटी 9वीं बटालियन एनडीआरएफ की रेस्क्यू बोट पर बाढ़ पीड़ित गर्भवती महिला ने एक बच्ची को जन्म दिया. जहां दर्द और परेशानी के इस माहौल में नवजात को देखकर कईयों के चेहरे खिल उठे.

परिवार के सामने थी बड़ी चुनौती
दरअसल बाढ़ प्रभावित गांव गोबरी, प्रखण्ड बंजारिया में मुनिलाल महतो की गर्भवती पत्नी रीमा देवी प्रसव पीड़ा से परेशान थी. उनके परिवार के लोगों के सामने सबसे बड़ी चुनौती थी कि संकट की इस घड़ी में जल्द से जल्द नजदीक के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र कैसे पहुंचा जाए. इसकी सूचना गांव के नजदीक ऑपेरशन में जुटे 9वीं बटालियन एनडीआरएफ के कमाण्डर सहायक उप निरीक्षक जितेन्द्र कुमार को मिली.
महिला की मदद को पहुंची एनडीआरएफ 
कमाण्डर जितेन्द्र कुमार ने अपने प्रभारी अधिकारी अरविन्द मिश्रा को सूचना दी. उनके निर्देश पर एनडीआरएफ के बचावकर्मी तुरन्त महिला के घर के नजदीक रेस्क्यू बोट लेकर पहुंच गए. एनडीआरएफ के कर्मी गर्भवती महिला रीमा देवी को उनके परिजनों और 'आशा' सेविका को लेकर रेस्क्यू बोट से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बंजारिया पहुंचाने में जुट गए.
नदी की मझधार में बढ़ी प्रसव पीड़ा 
इसी बीच बूढ़ी गंडक नदी की मजधार में गर्भवती महिला की प्रसव पीड़ा और बढ़ गई. महिला की गम्भीर हालत और उनकी जान जोखिम में देखते हुए रेस्क्यू बोट पर ही प्रसव कराने का फैसला लिया गया. आखिर में एनडीआरएफ के बचावकर्मी, 'आशा' सेविका और परिवार की महिलाओं के सहयोग से सफल और सुरक्षित प्रसव करा लिया गया.
रेस्क्यू बोट पर हुआ बच्ची का जन्म 
इस तरह बाढ़ के बीच मझधार में एक बच्ची की किलकारी गूंजी. रीमा देवी ने एनडीआरएफ रेस्क्यू बोट पर एक बच्ची को जन्म दिया. फिर महिला और नवजात शिशु को भोला चौक रोड के नजदीक सुरक्षित लाकर सरकारी एम्बुलेन्स की मदद से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बंजारिया में भर्ती कराया गया. जहां महिला और नवजात शिशु दोनों स्वस्थ हैं.
बोट पर कई बार हुआ है शिशु का जन्म'
इस सिलसिले में कमान्डेंट विजय सिन्हा ने बताया कि साल 2013 से बाढ़ प्रभवित इलाकों में रेस्क्यू के दौरान 9वीं बटालियन एनडीआरएफ की बोट पर यह दसवें शिशु का जन्म है. जिसमें एक जुड़वे बच्चे का जन्म भी शामिल है. भगवान का शुक्र है कि अब तक सभी शिशु का जन्म सुरक्षित हुआ है. उन्होंने आगे बताया कि हमारे बचावकर्मियों का उद्देश्य मुसीबत में फंसी गर्भवती महिला को जल्द से जल्द सुरक्षित तरीके से नजदीकी अस्पताल पहुंचाना होता है.
5,300 से ज्यादा लोगों का हुआ रेस्क्यू
अब तक एनडीआरएफ की टीमों ने बाढ़ प्रभावित गोपालगंज, सुपौल, दरभंगा, सारण, पूर्वी चम्पारण और पश्चिम चम्पारण जिलों में बाढ़-बचाव ऑपेरशन किया है. इस दौरान 5,300 से अधिक लोगों को जलमग्न गांवों से निकालकर सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाया है.

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें