नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के आवास हुई अहम बैठक आयोजित की गई। बैठक में संगठन और चुनाव के मुद्दे पर चर्चा की गई। इस दौरान बैठक में शामिल वरीय नेताओं को तेजस्वी ने एक ऐसी जानकारी दी, जिससे खुशी की लहर दौर गई। दरअसल, बैठक के दौरान ही तेजस्वी ने नेताओं को बताया कि विधानसभा चुनाव से पूर्व लालू प्रसाद जेल से बाहर आ सकते हैं। उन्हें जमानत मिलने की पूरी संभावना है।
सबकुछ ठीक रहा तो अक्टूबर में लालूजी को बेल मिल सकता है। इस बात की जानकारी मिलते ही बैठक में मौजूद नेताओं में खुशी की लहर दौड़ गई। इस दौरान तेजस्वी ने यह भी घोषणा की कि आरजेडी इस बार पिछली बार से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ेगी। गठबंधन के लिए बातचीत का दौर जारी है। तेजस्वी ने अपनी पार्टी के विधायकों को यह आश्वासन दिया कि लालूजी चुनाव से पहले जेल से बाहर आ जाएंगे।
लालूजी ने आधी सजा काट ली है। इसलिए उन्हें जमानत मिलने की पूरी उम्मीद है। हालांकि मीटिंग के दौरान तेजस्वी पार्टी के विधायक, जिलाध्यक्ष और प्रधान महासचिवों के बीच आपसी मतभेद को लेकर चिंतित भी दिखे। इस दौरान वे यहां तक कह गए कि सभी से अपील करता हूं कि एकबार विधानसभा चुनाव के लिए आपसभी एकजुट हो जाएं। तेजस्वी ने मनमुटाव को दूर करने के लिए सबो को साथ में खाना भी खिलाया।
हालांकि मीटिंग खत्म होने के बाद आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने कहा कि आरजेडी में किसी तरह का कोई विवाद नहीं है। एक परिवार के सभी सदस्य हैं, थोड़ी-बहुत नाराजगी थी जिसे मिल-बैठकर दूर कर लिया गया है। किसी विवाद की वजह या समाधान के लिए यह मीटिंग नहीं बुलाई गई थी। हमसभी को सचेत रहना है, क्योंकि हमलोगों के बीच फूट डालने की कोशिश हो रही है। विधायकों और एमएलसी को कई तरह के प्रलोभन दिए जा रहे हैं।
आपने देखा किस तरह से हमारे एमएलसी लूट लिए गए। हमें इसके लिए सजग रहना है। हम चाहते हैं कि जल्द से जल्द हमारा प्रशिक्षण शिविर खत्म हो और इसके बाद हम कार्यकर्ताओ को भी प्रशिक्षित करेंगे। उधर, डिजिटल चुनाव प्रचार को लेकर भी आरजेडी ने आपत्ति जताई है। मीटिंग के बाद आलोक मेहता ने कहा कि हमारा वोटर डिजिटल प्लेटफॉर्म से वाकिफ नहीं है।
इसलिए हमने चुनाव आयोग से डिजिटल चुनाव प्रचार पर रोक लगाने की मांग की है। वहीं आरजेडी के मुख्य प्रवक्ता और मनेर विधायक भाई वीरेंद्र ने कहा कि अक्टूबर से पहले लालू प्रसाद जेल से बाहर होंगे। आधी सजा उन्होंने काट ली है। इससे पहले इसी आधार पर उन्हें जमानत नहीं दी गई थी, लेकिन न्यायालय की यह शर्त भी उन्होंने पूरी कर ली है।वहीं बैठक में डॉक्टर सुधीर कुमार पीपीई किट पहन के पहुंचे। चिकित्सा प्रकोष्ठ के डॉक्टर सुधीर कुमार पूरी तरीके से कोरोनावायरस के बचाव के लिए खुद को पीपीई किट पहने हुए थे। 10 सर्कुलर आवास में पहली बार पार्टी का कोई नेता पीपीई कित पहन के बैठक में शामिल हुआ। हालांकि संक्रमण को देखते हुए पहले ही गाइडलाइन दिया गया था कि सभी अपने चेहरे को मास्क से ढक कर आएंगे, सैनिटाइजर का पूरा इस्तेमाल करेंगे और 2 गज की दूरी का भी पालन करेंगे।
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